Patna : राज्य की ताजा सियासी हलचल के बारे में तरह-तरह की अटकलें लगाई जा रही है. चर्चा है कि सीएम नीतीश कुमार राजद से अपना पिंड छुड़ाने के लिए इस्तीफा देंगे. इधर राज्य में ताजा राजनीतिक हलचल को देखते हुए जदयू, राजद, भाजपा और कांग्रेस ने अपने-अपने विधायकों और पार्टी के बड़े नेताओं की बैठक 27 जनवरी को बुलाई है. राजद की बैठक में पार्टी के सभी विधायक, विधान परिषद् सदस्य और पार्टी के वरीय नेता मौजूद रहेंगे. भाजपा की बैठक प्रदेश कार्यालय में होगी. माना जा रहा है कि बैठक के बाद भाजपा विधायकों के हस्ताक्षर युक्त समर्थन पत्र सीएम नीतीश कुमार को सौंप देगी. पहले जदयू की बैठक 28 जनवरी को 1 अणे मार्ग स्थित सीएम आवास में होने वाली थी, लेकीन ताजा सियासी हलचल को देखते हुए 27 जनवरी को ही बैठक बुलाई है. राज्य की ताजा राजनीतिक हलचल को देखते हुए यह बैठक अहम मानी जा रही है.
भाजपा सूत्रों के अनुसार 25 जनवरी की देर रात दिल्ली में गृह मंत्री अमित शाह के घर भाजपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नड्डा की मौजूदगी में बिहार भाजपा नेताओं की बैठक हुई. बैठक में एक बार फिर सीएम के रूप में नीतीश कुमार के नाम पर सहमति जताई गई. अमित शाह और जेपी नड्डा ने बिहार भाजपा के नेताओं को साफ-साफ संकेत दिया कि बिहार में राजनीतिक परिवर्तन के लिए तैयार रहें. भाजपा एक बार फिर नीतीश की अगुवाई में सरकार बनाने जा रही है.
बता दें कि गणतंत्र दिवस के मौके पर राज्यपाल राजेंद्र विश्वनाथ आर्लेकर ने राजभवन में बैठक बुलाई थी. बैठक में सीएम नीतीश कुमार समेत राज्य सरकार के तमाम मंत्री पहुंचे. उपमुख्यमंत्री तेजस्वी यादव बैठक में नहीं पहुंचे. उनके बैठक में नहीं पुहंचना चर्चा का विषय बना हुआ है.
बिहार की राजनीति के जानकारों की राय में नीतीश कुमार के जब-तब पलटी मारकर सरकार बना लेने के मंसूबे पर भाजपा को शक है. पार्टी के वरीय नेता नीतीश के इस इरादे पर भी मंथन कर रहे हैं. नीतीश कुमार के पलटी मारने के सवाल पर मुजफ्फरपुर के भाजपा सांसद अजय निषाद ने सधे हुए अंदाज में कहा कि भाजपा में केंद्रीय नेतृत्व जो तय करता है वही होता है. इतना ही नहीं इंडिया गठबंधन पर बयान दे डाला कि यह गठबंधन सफल नही होने वाला है.
कोयलांचल लाइव डेस्क
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